कॉइन मीडिया न्यूज ग्रुप के सूत्रों के अनुसार, छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य में शिक्षा प्रणाली को उन्नत करने के उद्देश्य से पीएम श्री योजना शुरू की है। इस योजना के तहत 12वीं कक्षा तक के छात्रों को डिजिटल कक्षाओं में पढ़ाई करने का अवसर मिलेगा। इस योजना का शुभारंभ केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने रायपुर के पंडित दीनदयाल उपाध्याय सभागार में किया।
डिजिटल कक्षाएं: इस योजना का लक्ष्य 12वीं कक्षा तक के छात्रों के लिए डिजिटल कक्षाएं प्रदान करके छत्तीसगढ़ में मौजूदा स्कूलों को उन्नत करना है।
हब और स्पोक मॉडल: यह योजना एक हब और स्पोक मॉडल का पालन करेगी, जहां सलाहकार संस्थान (हब) आत्म-सुधार के लिए प्रदान की गई सेवाओं के माध्यम से सलाहकार संस्थान (स्पोक) का मार्गदर्शन करेगा।
वित्तीय सहायता: प्रत्येक स्कूल को रुपये की वित्तीय सहायता मिलेगी। योजना के प्रथम चरण के लिए 2 करोड़ रु.
नई पाठ्यचर्या रूपरेखा: यह योजना अगस्त 2023 में शिक्षा मंत्रालय द्वारा घोषित नई पाठ्यचर्या रूपरेखा (एनसीएफ) पर आधारित है, जिसमें वर्ष में दो बार बोर्ड परीक्षा और सर्वोत्तम स्कोर बनाए रखने का विकल्प शामिल है।
राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020: यह योजना राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 के अनुरूप है, जिसका उद्देश्य भारत को वैश्विक ज्ञान महाशक्ति बनाना है।
समग्र विकास: इस योजना का लक्ष्य 21वीं सदी के प्रमुख कौशलों से सुसज्जित समग्र और सर्वांगीण व्यक्तियों का निर्माण करना है।
उन्नत शिक्षा: इस योजना का उद्देश्य संज्ञानात्मक विकास को बढ़ाना और एक समान, समावेशी और आनंदमय स्कूल वातावरण में उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा प्रदान करना है।
डिजिटल साक्षरता: इस योजना का उद्देश्य छात्रों और शिक्षकों के बीच डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा देना है।
कार्यान्वयन
विकेंद्रीकृत प्रशासन: यह योजना प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के लिए विकेंद्रीकृत प्रशासन रणनीति का पालन करेगी।
पारदर्शिता और जवाबदेही: यह योजना स्कूल स्तर पर प्रदर्शन के प्रभावी वितरण के लिए पारदर्शिता और जवाबदेही की एक प्रणाली तैयार करेगी।
छत्तीसगढ़ में पीएम श्री योजना का उद्देश्य 12वीं कक्षा तक के छात्रों के लिए डिजिटल कक्षाएं प्रदान करके शिक्षा प्रणाली को उन्नत करना है। यह योजना राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 के अनुरूप है और इसका उद्देश्य 21वीं कुंजी से सुसज्जित समग्र और अच्छी तरह से विकसित व्यक्तियों का निर्माण करना है।